गुरुग्राम के बंधवाड़ी लैंडफिल पर जमे कूड़े के पहाड़ को हटाने की दिशा में आखिरकार बड़ी पहल हुई है। करीब डेढ़ साल के लंबे इंतजार के बाद अब यहां कूड़ा निस्तारण का काम शुरू होने जा रहा है। मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में हुई हाई पावर वर्क्स परचेज कमेटी की बैठक में बंधवाड़ी लैंडफिल के टेंडर रेट को मंजूरी मिल गई है। इसके बाद नगर निगम गुरुग्राम जल्द ही एजेंसियों को काम सौंपेगा।

दो एजेंसियों को मिलेगा 14 लाख टन कूड़ा निस्तारण का जिम्मा
नगर निगम की ओर से दयाचरण एंड कंपनी और एमकेजी ग्रीन एनर्जी प्राइवेट लिमिटेड को सात–सात लाख टन कूड़े के निस्तारण का काम दिया जाएगा। निगम अधिकारियों के अनुसार इस महीने के अंत तक वर्क ऑर्डर जारी कर दिए जाएंगे। एजेंसियों को साइट पर मशीनरी लगाने के लिए 60 दिन का समय मिलेगा।
2027 तक पूरी तरह साफ होने का दावा
निगम का दावा है कि फरवरी–मार्च 2027 तक बंधवाड़ी लैंडफिल में पड़े पुराने कूड़े का पूरी तरह सफाया कर दिया जाएगा। दोनों एजेंसियों को कूड़ा निस्तारण के लिए 12 महीने की समयसीमा दी गई है। नगर निगम के एसडीओ सुमित कुमार ने बताया कि काम सौंपने की सभी औपचारिकताएं पूरी की जा रही हैं।
तीसरी बार में सफल हुआ टेंडर
यह टेंडर तीसरी बार लगाया गया था। इससे पहले दो बार एजेंसियों ने हिस्सा नहीं लिया, जिस वजह से प्रक्रिया अधूरी रह गई थी। पिछले डेढ़ साल से कूड़ा निस्तारण बंद होने के कारण लैंडफिल साइट पर करीब 20 मीटर ऊंचा कूड़े का पहाड़ खड़ा हो गया है।
बंधवाड़ी में बीते 12 वर्षों से कूड़े की समस्या बनी हुई है। साल 2024 में ही कूड़ा खत्म करने की योजना थी, लेकिन पहले जिन एजेंसियों को जिम्मेदारी दी गई थी, उन्होंने काम नहीं किया। इसके चलते लैंडफिल पर लगातार कूड़े का दबाव बढ़ता चला गया।
30 एकड़ में फैला 15 लाख टन से ज्यादा कूड़ा
फिलहाल बंधवाड़ी लैंडफिल पर 15 लाख टन से ज्यादा कूड़ा जमा है, जो करीब 30 एकड़ जमीन पर फैला हुआ है। अक्टूबर 2024 के बाद कूड़ा निस्तारण लगभग ठप पड़ा रहा। कूड़े की ऊंचाई इतनी ज्यादा हो चुकी है कि ट्रकों को ऊपर चढ़ने में भी परेशानी होती है।
अक्टूबर 2024 में यहां करीब आठ लाख टन पुराना कूड़ा बचा था, लेकिन उसके बाद निस्तारण नहीं होने और रोजाना कूड़ा डाले जाने से स्थिति फिर से बिगड़ गई।
16 दिसंबर को एनजीटी में सुनवाई
बंधवाड़ी लैंडफिल से जुड़े मामले की सुनवाई 16 दिसंबर को नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (NGT) में होनी है। इसको लेकर नगर निगम ने अपना एक्शन प्लान तैयार कर लिया है।
वहीं चारकोल प्लांट लगाने के लिए एनटीपीसी ने बंधवाड़ी में 20 एकड़ जमीन की मांग की है, जो फिलहाल उपलब्ध नहीं है। योजना के अनुसार 1 मार्च 2025 से प्लांट का काम शुरू होना था, लेकिन जमीन न मिलने के कारण यह प्रोजेक्ट अटका हुआ है।
कूड़े के आंकड़े एक नजर में
- जनवरी 2023 में बंधवाड़ी लैंडफिल पर 30.43 लाख टन कूड़ा मौजूद था।
- जनवरी 2023 से दिसंबर 2023 के बीच 6.06 लाख टन कूड़ा यहां पहुंचा।
- जनवरी 2024 से 21 नवंबर 2024 तक 5.84 लाख टन कूड़ा लैंडफिल पर डाला गया।
- अब तक कुल 42.33 लाख टन कूड़ा बंधवाड़ी में डाला जा चुका है।
- जनवरी 2023 से दिसंबर 2023 तक 16.50 लाख टन कूड़े का निस्तारण किया गया।
- जनवरी 2024 से 21 नवंबर 2024 तक 17.16 लाख टन कूड़ा निस्तारित हुआ।
- कुल 33.66 लाख टन कूड़े का निस्तारण हो चुका है।
- फिलहाल 15 लाख टन से ज्यादा कूड़ा अभी भी साइट पर मौजूद है।
फरीदाबाद का कूड़ा बना बड़ी परेशानी
नगर निगम गुरुग्राम की ओर से कई बार फरीदाबाद नगर निगम को पत्र लिखकर कूड़ा बंधवाड़ी न भेजने की मांग की गई है। यह मुद्दा पिछली निगम सदन की बैठक में भी उठा था। बैठक में मेयर और पार्षदों ने लैंडफिल साइट का दौरा करने की बात कही थी।
इसके बावजूद फरीदाबाद से रोजाना 900 से 1000 टन कूड़ा बंधवाड़ी भेजा जा रहा है। वहीं गुरुग्राम से प्रतिदिन करीब 1200 टन कूड़ा निकलता है। इस तरह हर दिन 2200 टन से ज्यादा कूड़ा लैंडफिल पर पहुंच रहा है, जिससे समस्या और गंभीर बनी हुई है।
अब निगाहें इस बात पर टिकी हैं कि नए टेंडर के बाद तय समय में बंधवाड़ी लैंडफिल से कूड़े का पहाड़ हट पाता है या नहीं।
